कभी बर्तन धोता था, अब सीधे एनकाउंटर करता है यह शख्स
अपको बता दें कि दया नायक के चरित्र पर बॉलिवुड फिल्में भी बनी हैं। दया जब अपने मिशन पर निकले थे कि उनको खुद यह अंदाजा नहीं था कि एक दिन वह दुश्मनों को मार गिराकर अपना नाम उच्च स्तरीय पुलिस ऑफिसरों की लिस्ट में दर्ज करा लेंगे। लेकिन यह हुआ। उनके मुताबिक यह उनकी कड़ी मेहनत का नजीता था। उनका आत्मविश्वास कभी नहीं डगमगाया। वह इसी तरह आगे बढ़ते चले गए।
कर्नाटक के हैं दया
कर्नाटक में जन्में दया की स्कूली पढा़ई कन्नड़ में हुई। दया सातवी तक कन्नड़ स्कूल में हुई है। आर्थिक स्थिति बिगड़ने के बाद दया सन 1979 में मुंबई आए। उन्होंने सपने देखे। इसके लिए उन्होंने शुरूआती नौकरी के तौर पर एक होटल में काम किया। मालिक उन्हें बहुत कम पैसे देता था। जिससे गुजारा करना भी मुश्किल हुआ करता था।
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English summary
Then Washing pots now Encounter specialist Daya Nayak in Maharashtra.
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