ओसामा बिन लादेन के बाद भी खत्म नहीं हुआ आतंकवाद
तीन साल हो गए जब अमेरिका ने 'ऑपरेशन जेरीनीमो' में ओसामा बिन लादेन को मार गिराया था लेकिन उसके जाने के बाद भी आतंक चुप नहीं है। वह लगातार सिर उठाता जा रहा है।
अमेरिका की सेंट्रल इंटेलीजेंस एजेंसी यानी सीआईए के लिए 30 साल तक काम कर चुके जॉन मैक्लॉघिन ने अपने एक ब्लॉग में दुनिया में मौजूद पांच उन बड़े आतंकी संगठनों के बारे में लिखा है जो अल कायदा के बाद ताकतवर हो गए हैं। जॉन की मानें तो यह वह संगठन हैं जो न सिर्फ अमेरिका बल्कि कुछ और देशों के लिए आने वाले कुछ वर्षों में सबसे बड़ा खतरा साबित हो सकते हैं।
जॉन के मुताबिक पिछले कुछ वर्षों में आतंकवाद काफी बदल गया है और खासतौर पर पिछले तीन वर्षों में जब से ओसामा बिन लादेन मरा है तब से ही यह नए बदलाव की ओर बढ़ा है।
इसके बावजूद अमेरिका तो क्या दुनिया का कोई भी देश इस बात का पता नहीं लगा पा रहा है कि किस तरह से दुनिया के आतंकी संगठन काम कर रहे हैं। जॉन की मानें तो आतंकवाद के पूरे पक्ष को जानना, आतंकवादी संगठनों की क्षमता लगा पाना और उनकी योजनाओं के बारे में पूरे आत्मविश्वास के साथ कुछ भी कह पाना काफी मुश्किल है।
जॉन के मुताबिक यमन में अल कायदा, सीरिया का जबहत-अल-नुसरा, नॉर्थ अफ्रीका का अंसार-अल-शरिया नाइजीरिया का बोका-हराम और सोमालिया को अल-शहाब दुनिया के पांच ऐसे खतरे हैं जिन्हें खत्म कर पाना शायद काफी मुश्किल है। जॉन के मुताबिक यह अमेरिका के लिए बहुत बड़ी चुनौती है कि वह इन संगठनों को खत्म कर पाए।