पाकिस्तान को उसकी औकात याद दिलाना चाहते हैं भारतीय सैनिक
बैंगलोर।
[ऋचा
बाजपेई]
सरहद
से
सटे
हुए
जम्मू
के
आरएस
पुरा
सेक्टर
में
2000
से
ज्यादा
लोगों
को
अपना
घर
सिर्फ
इसलिये
छोड़ना
पड़ा
क्योंकि
पड़ोसी
देश
पाकिस्तान
की
सेना
ने
भारत
के
खिलाफ
युद्ध
छेड़ा
हुआ
था।
बीएसएफ की 12 चौकियों पर एक साथ हमला बोलना किसी युद्ध से कम नहीं था। गांव वालों के लिये रात एक भयावह सपने जैसी और सैनिकों के लिये क्रिकेट के गेम जैसी! जी हां क्रिकेट का खेल क्योंकि भारतीय सेना के जवान अब इस खेल में पाकिस्तान सेना को उसकी औकात याद दिलाना चाहते हैं।
जी हां सेना के अंदर अब आवाज उठने लगी है कि पाक को जवाब देना चाहिए। सेना के जवानों से लेकर अफसर तक मानते हैं कि अगर अब पाक को जवाब नहीं दिया गया तो फिर बड़ी देर हो जाएगी। पाक की ओर से जुलाई से लेकर अब तक करीब 60 बार युद्धविराम का उल्लंघन किया जा चुका है और इसके बावजूद पाक रुकने का नाम नहीं ले रहा है।
बातचीत से नहीं सुधरेगा पाक
लगातार सीजफायर वॉयलेशन और देश में बढ़ती आतंकी घटनाओं ने न सिर्फ आम नागरिकों को परेशान कर दिया है बल्कि सेना भी इससे काफी परेशान है। सेना के अफसरों की मानें तो पाक अब भारत के धैर्य की परीक्षा ले रहा है।
सेना के सूत्रों की मानें तो अब सैनिक मानते हैं कि पाक को सही तरीके से जवाब देना ही होगा क्योंकि वह लगातार उन्हें चुनौतियां पेश कर रहा है। सीमा पर गोलीबारी और आतंकी साजिश के बीच पाक अपने मंसूबों में कामयाब न हो इसके लिए तैयार रहना होगा और साथ ही साथ उसे सख्त तरीके से समझाना होगा।
बातचीत अपनी जगह है लेकिन सिर्फ बातचीत से पाक सुधर जाए, इसकी उम्मीद तो कभी नहीं करनी चाहिए।
क्या नरेंद्र मोदी से डर गया है पाक
एक बात जो सबसे ज्यादा ध्यान देने वाली है वह यह है कि जब से केंद्र में नई सरकार आई है तब से ही पाक की ओर से सीमा पर तनाव का माहौल बनाने की कोशिशें की जा रही हैं। रिटायर्ड मेजर जनरल गगनदीप बख्शी के मुताबिक ऐसा लगता है कि पाक सेना ने यह तय कर लिया है कि वह केंद्र में आई मोदी सरकार की परीक्षा लेकर ही रहेगी।
पाक पिछले कई वर्षों से देश में जेहादी आतंक को बढ़ावा दे रहा है और एलओसी पर लगातार फायरिंग कर रहा है। अब समय आ गया है जब मोदी सरकार अपनी विश्वसनीयता जनता को यह बताए कि वह पिछली सरकार से अलग है और प्रभावतशाली तरीके से पाकिस्तान को जवाब दे सकती है।