यह पहला मौका है जब चार बार चैम्पियन रही पाकिस्तानी टीम ने हॉकी विश्व कप में 12वां स्थान हासिल किया। कनाडा की टीम ने तीसरी बार विश्व कप में 11वां स्थान हासिल किया इससे पहले उसने 1978 और 1990 में 11वां स्थान हासिल किया था।मैच का फैसला अतिरिक्त समय में हुआ। निर्धारित समय की समाप्ति तक दोनों टीमें 2-2 की बराबरी पर थीं। अतिरिक्त समय के पहले हाफ में भी दोनों टीमें कोई गोल नहीं कर सकीं लेकिन अतिरिक्त समय के दूसरे हाफ में मिले पेनाल्टी कॉर्नर को गोल में बदलकर कनाडा ने यह मैच अपने नाम किया।मैच का पहला गोल पाकिस्तान के स्टार स्ट्राइकर रेहान बट्ट ने चौथे मिनट में किया। 12वें मिनट में कनाडा के कोनॉर ग्रीम्स ने बराबरी का गोल दागा। इसके बाद पहले हॉफ में दोनों टीमें और कोई गोल नहीं कर सकीं।46वें मिनट में अख्तर अली ने एक शानदार फील्ड गोल करके पाकिस्तान को 2-1 की बढ़त दिला दी। कनाडा की टीम अब दबाव में थी और पाक खेमें में खुशी थी लेकिन 12 मिनट बाद कनाडा के खिलाड़ी मार्क पीयर्सन ने एक बेहतरीन फील्ड गोल के माध्यम से अपनी टीम को बराबरी पर ला दिया। निर्धारित समय की समाप्ति तक यही स्कोर रहा।अतिरिक्त समय की समाप्ति में भी सिर्फ दो मिनट का समय बचा था। मैच का फैसला पेनाल्टी स्ट्रोक से होने के आसार बनते दिख रहे थे लेकिन तभी कनाडा के स्कॉट टुपर ने पेनाल्टी कार्नर पर ड्रैग फ्लिक करके पाकिस्तानी गोलपोस्ट की बाईं ओर गेंद घुसा की। यह गोल मैच के 86वें मिनट में हुआ। इस गोल्डन गोल की मदद से कनाडा ने यह मैच अपने नाम किया।पूल दौर की समाप्ति के बाद दोनों टीमें अपने-अपने पूल में अंतिम स्थान पर रहीं थी। पूल-बी में पाकिस्तान ने स्पेन के खिलाफ मिली जीत से तीन अंक हासिल किए थे जबकि कनाडा पूल-ए में एक भी मैच नहीं जीत सका था।इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।